Khatu Shyam Mela Date – खाटू श्याम का नाम आते ही लोगों के दिलों में जान आ जाती है अब लोग बाबा के विशाल मेले का इंतजार कर रहे हैं। खाटू श्याम कलियुग के अवतार के रूप मे माने जाते हैं। बाबा के लक्खी मेले की जोरों से तैयारियों शुरू हो चुकी है।
लक्खी मेले कब है
खाटू श्याम बाबा का मेला फाल्गुन महीने में शुक्ल पक्ष को लगता है जो 12 मार्च से शुरू हो जा रहा है जो 10 दिन चलता है इस प्रकार मेला 12 से शुरू होकर 22 मार्च को खत्म होगा। इस बार बाबा खाटूश्यामजी जी के लाखों दर्शकों के आने की संभावना बताई जा रही है जिसके प्रबंधक के लिए सीकर पुलिस और श्री बाबा खाटू श्याम कमेटी इंतजाम करने में जुट गई हैं।
बाबा का मंदिर में मेला क्यों लगता हैं
राजस्थान के खाटूश्मंयामजी में हर साल फाल्गुनी मास में लक्खी मेला लगाया जाता है. इसके पीछे एक पौराणिक कथा है.द्वापर युग में घटोत्कच के पुत्र बर्बरीक महाभारत युद्ध में हारने वाले को सहारा देने के लिए निकले थे तब भगवान श्रीकृष्ण ने उनसे पूछ लिया कि आखिर आप किसका साथ देने वाले हो तब बर्बरीक ने जवाब दिया कि भगवान में हारने वालों का साथ दूंगा और भगवान श्रीकृष्ण को पता था कि यदि बर्बरीक कौरवों का दिया तो पाण्डवों की हार पक्की थी तब श्रीकृष्ण ने बर्बरीक से अपना शीश दान करने के लिए कहा क्योंकि बर्बरीक एक बड़े दानी थी, उन्होंने श्रीकृष्ण की बात को स्वीकार करके अपने शीश काटकर उनके चरणों में रख दिया।
यह देखकर भगवान श्री कृष्ण बहुत खुश हुए और उन्होंने बर्बरीक को वचन दिया कि तुम कलयुग के देवता और हारे के सहारे बनोंगे. कलयुग में मेरे नाम से तुम्हारी पूजा जाएगी.
तब से लेकर यह मेला यहां लगाया जाता है जिसमें लाखों श्रद्धालू आते हैं।
यदि आप बाबा खाटूश्यामजी का पूरा इतिहास जानना है तो आप नीचे दी गयी पोस्ट को पढ़कर सारी जानकारी पा सकेंगे |